Sunday, September 14, 2025
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पाकिस्तान में महंगाई की मार, अब दूध 210 रुपए लीटर, 1 किलो चावल 200 में

इस्लामाबाद। आर्थिक संकट से जूझ रहे पाकिस्तान की अवाम को शहबाज शरीफ सरकार हर रोज एक नया झटका दे दे रही है। अभी पिछले दिनों ही एक बार फिर से बिजली की दरों में हुई बढ़ोतरी महंगाई से जूझ रही पाकिस्तानी जनता पर आफत बनकर गिरी है। अब पाकिस्तानी अवाम दिन गिन रही है कि कब शहबाज शरीफ सरकार का महंगाई बम उनके ऊपर फूटेगा और पाकिस्तान का पूरा सिस्टम धराशाई हो जाएगा। पाकिस्तान का विदेशी मुद्रा भंडार दो-ढाई अरब डॉलर तक गिर चुका है।

पाकिस्तान के हालात दिन पर दिन बदतर होते जा रहे हैं, लोगों के लिए रोजमर्रा का सामान खरीदना मुश्किल हो गया है। अब खबर आ रही है कि दूध और चिकन के दाम फिर बढ़ा दिए गए हैं। पाकिस्तानी अखबार डॉन ने बताया कि खुले दूध की कीमतें 190 रुपये प्रति लीटर से बढ़ाकर 210 रुपये प्रति लीटर कर दी गई हैं और पिछले दो दिनों में चिकन में 30-40 रुपये प्रति किलोग्राम की वृद्धि देखी गई है, जिसके साथ अब इसकी कीमत 480-500 रुपये प्रति किलोग्राम हो गई है।

चिकन मांस अब 700-780 प्रति किलोग्राम पर बेचा जा रहा है जो पहले 620-650 प्रति किलोग्राम था, रिपोर्ट में कहा गया है कि हड्डी सहित मांस की कीमत 1,000-1,100 रुपये प्रति किलोग्राम हो गई है। दूध की कीमतों पर, कराची मिल्क रिटेलर्स एसोसिएशन के मीडिया समन्वयक वहीद गद्दी ने डॉन से कहा कि 1,000 से अधिक दुकानदार दूध की कीमतों को बढ़ा कर बेच रहे हैं। ये वास्तव में थोक विक्रेताओं/डेयरी की दुकानें हैं न कि हमारे सदस्यों की। उन्होंने आगे कहा कि अगर डेयरी और थोक विक्रेताओं द्वारा घोषित मूल्य वृद्धि ऐसे ही रही तो दूध की कीमत 210 रुपये के बजाय 220 पाकिस्तानी रुपये प्रति लीटर हो जाएगी।

पोल्ट्री की बढ़ती दरों पर, सिंध पोल्ट्री होलसेलर्स एसोसिएशन के महासचिव कमाल अख्तर सिद्दीकी ने कहा कि जिंदा चिकन का थोक दर 600 रुपये प्रति किलोग्राम था, जबकि उसके मांस का दर 650 रुपये और 700 रुपये था। नई कीमतें आईएमएफ और पाकिस्तान के बीच बातचीत में गतिरोध के बीच आया है। यह शहबाज शरीफ की सरकार के लिए एक झटके के रूप में आया है क्योंकि देश पिछले साल रिकॉर्ड तोड़ बाढ़ से उबरने के लिए संघर्ष कर रहा है, जिसमें 1,739 लोग मारे गए थे और 2 मिलियन घर नष्ट हो गए थे।

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35 बर्षों से पत्रकारिता के प्रिंट, इलेक्ट्रॉनिक व सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर सामाजिक, आर्थिक, राजनैतिक, धार्मिक, पर्यटन, धर्म-संस्कृति सहित तमाम उन मुद्दों को बेबाकी से उठाना जो विश्व भर में लोक समाज, लोक संस्कृति व आम जनमानस के लिए लाभप्रद हो व हर उस सकारात्मक पहलु की बात करना जो सर्व जन सुखाय: सर्व जन हिताय हो.
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